जो महिलाएं किसी संस्थान में कार्यरत होती हैं उन्हें गर्भवती होने पर ये डर रहता है की उनके गर्भवती (Pregnant) होने से उनकी नौकरी न छिन जाये या उनके करियर में कोई बाधा न आए. लेकिन महिलाओं के लिए गर्भावस्था में एक विशेष अधिकार या कानून लागू होता है जिसे मातृत्व अवकाश (maternity leave) कहा जाता है. मातृत्व अवकाश क्या है? (What is maternity leave?) मातृत्व अवकाश के क्या फायदे हैं? (maternity leave benefits) ये आपको जरूर जानना चाहिए.
मातृत्व अवकाश क्या है? (What is maternity leave in India?)
मातृत्व अवकाश (maternity leave) एक ऐसा अवकाश है जो महिला कर्मचारियों को प्रसव करवाने के लिए दिया जाता है. इस दौरान महिलाओं के वेतन में कोई कटौती नहीं होती है और वे बेफिक्र होकर प्रसव करवा सकती है. प्रसव हो जाने के बाद वे फिर से पहले की तरह नौकरी कर सकती है. इस कानून से उनकी नौकरी जाने का भी खतरा नहीं रहता है.
मातृत्व अवकाश के लिए कौन पात्र है? (Who is eligibile for maternity leave?)
मातृत्व अवकाश का लाभ आपको मातृत्व लाभ संशोधन अधिनियम 2017 (Maternity benefit act 2017) के अंतर्गत मिलता है. इसके अनुसार यह लाभ उन महिलाओं को मिलता है जिसमें कर्मचारी के रूप में मौजूदा कंपनी में पिछले एक साल में 80 दिन तक काम किया हो. उन्हें मातृत्व अवकाश का लाभ मिलेगा और अवकाश की अवधि के दौरान भुगतान दैनिक मजदूरी पर आधारित होगा.
मातृत्व अवकाश की अवधि (How long is maternity leave?)
मातृत्व अवकाश की अवधि वैसे तो 26 सप्ताह की है लेकिन कई केस में ये 12 सप्ताह की भी हो जाती है. जिन महिलाओं का पहला प्रसव है उन्हें 26 सप्ताह का मातृत्व अवकाश मिलता है. इसके अलावा जिनके दो बच्चे पहले से है उन्हें 12 सप्ताह का मातृत्व अवकाश मिलता है. इसके अलावा जो महिलाएं तीन महीने या उससे छोटे बच्चे को गोद लेती हैं तथा सरोगेसी के जरिये मां बनने वाली महिलाओं के लिए 12 सप्ताह का मातृत्व अवकाश तय किया गया है.
मातृत्व अवकाश कब ले सकते हैं? (When should you stop working while pregnant?)
मातृत्व लाभ संशोधन अधिनियम 2017 के मुताबिक महिलाएं डिलिवरी की अनुमानित तारीख से 8 सप्ताह पहले और शेष प्रसव के बाद ले सकती हैं. जिन महिलों के दो बच्चे हो चुके हैं और तीसरा होने वाला है वो महिलाएं प्रसव से 6 सप्ताह पहले और 6 सप्ताह के बाद ले सकती हैं. इसके अलावा बच्चा गोद लेने वाली महिलाएं बच्चा गोद लेने की तारीख से अवकाश का लाभ ले सकते हैं.
मातृत्व अवकाश कैसे लें? (How to take maternity leave)
मातृत्व अवकाश लेने के लिए आपको सुनिश्चित करना होगा की आपको अवकाश कब से कब तक लेना है. आप चाहे तो प्रसव के पहले वाले समय में कम अवकाश लेकर बाद में ज्यादा ले सकती हैं. अपने अवकाश को सुनिश्चित करने के बाद आपको अपने एचआर या मैनेजर से इसके बार में बात करना है. वो आपकी इसकी नीतियों के बारे में अच्छे से समझाएँगे ताकि आप किसी भ्रम में न रहे. इसके बाद एचआर की तरफ से आपका मैटरनिटी लीव फॉर्म भर दिया जाएगा.
मातृत्व अवकाश में वेतन (Salary in maternity leave)
कई महिलाओं का ये सोचना होता है की क्या उन्हें मातृत्व अवकाश के दौरान वेतन मिलेगा. इसका जवाब है ‘हां’ लेकिन इस बात का ध्यान रखें की आपको वेतन सिर्फ उसी अवधि का दिया जाएगा जितना मातृत्व अवकाश होगा. यानि पहला प्रसव है तो 26 सप्ताह के लिए आपको वेतन मिलेगा. इसके बाद यदि आप छुट्टी मनाते हैं तो आपको वेतन नहीं मिल पाता है.
महिलाओं के लिए मातृत्व अवकाश काफी सहायक होता है क्योंकि जो महिलाएं कामकाजी होती हैं उन्हें हमेशा प्रेग्नेंसी के कारण अपनी नौकरी छिन जाने का डर होता है. मातृत्व अवकाश उन्हें इस बात से सुरक्षा दिलाता है और उनके अवकाश के बदले वेतन भी दिलाता है.
यह भी पढ़ें :
Women Home loan : महिलाओं को होम लोन पर क्या फायदा मिलता है?
LIC आधार शिला पॉलिसी, महिलाओं के लिए बेस्ट योजना
Joint registration of property: पत्नी के नाम पर प्रॉपर्टी लेने के फायदे